Unsung Heroes | History Corner | Azadi Ka Amrit Mahotsav, Ministry of Culture, Government of India

Unsung Heroes Detail

Paying tribute to India’s freedom fighters

वासुदेव राजिम वाले

Raipur, Chhattisgarh

January 30, 2023 to January 30, 2024

वासुदेव यशवंत राजिम वाले का जन्म 20 जनवरी, 1924 को रायपुर में हुआ था। उनके पिता का नाम श्री यशवंत गणेश राजिम वाले था। वासुदेव जी का परिवार रायपुर के तात्यापारा मोहल्ले में रहता था, जो राजनीतिक गतिविधियों का महत्वपूर्ण केंद्र था। यहां के हनुमान मंदिर में राजनीतिक सभाएं हुआ करती थी, जिसमें छत्तीसगढ़ सहित मध्यप्रांत के बड़े-बड़े नेताओं के भाषण होते थे। वासुदेव जी का परिवार मंदिर के निकट ही निवास करता था। अतः सभाओं की व्यवस्था की जिम्मेदारी भी उन्हें प्राप्त होती थी। वासुदेव जी ने अध्ययन के लिए छत्तीसगढ़ महाविद्यालय में प्रवेश लिया जहां राष्ट्रभक्त छात्रों का एक दल बना हुआ था ।

9 अगस्त, 1942 को भारत छोड़ो आंदोलन प्रारंभ होने पर 10 अगस्त को छत्तीसगढ़ महाविद्यालय से एक जुलूस रणवीर सिंह शास्त्री के नेतृत्व में निकला था। इस जुलूस को नियंत्रित करने का कार्य वासुदेव जी ने किया था। इस समय वे गिरफ्तार नहीं किए गए थे किंतु पुलिस की निगरानी में आ गए थे। क्योंकि कुछ समय पूर्व ही रायपुर षड्यंत्र केस के समय क्रांतिकारी गतिविधियों में सम्मिलित होने का उन पर आरोप लगा था। परंतु सबूत के अभाव में मुक्त कर दिए गए थे। वासुदेव जी भारत छोड़ो आंदोलन का प्रसार करने के लिए क्रांतिकारी पर्चों का वितरण दीवारों में चिपकाना तथा युवाओं को आंदोलन के लिये प्रोत्साहित करने का कार्य गुप्त रूप से कर रहे थे। 16 सितंबर, 1942 को छत्तीसगढ़ कॉलेज के छात्रों को क्रांतिकारी आंदोलन के लिए प्रेरित करते हुए गिरफ्तार कर लिए गए। उन्हें भारतीय सुरक्षा अधिनियम की धारा 129(1) डी आई आर के अंतर्गत 6 माह की जेल हुईं। उनका देहावसान 21 जनवरी, 1992 को हुआ।

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